सामान्य रसायन विज्ञान प्रश्न उत्तर भाग-86 |कंपटीशन परीक्षा में पूछे जाने वाले सामान्य रसायन विज्ञान के प्रश्न उत्तर | NEET में पूछे जाने वाले सामान्य रसायन विज्ञान के प्रश्न उत्तर | 11th स्टैंडर्ड के प्रश्न उत्तर | रसायन विज्ञान के संबंधित संपूर्ण प्रश्न उत्तर
सामान्य रसायन विज्ञान प्रश्न उत्तर भाग – 86
Ans. एकलक इकाइयों के विन्यास के आधार पर सहबहुलक चार प्रकार के होते हैं।
Ans. बहुलक के गुण उनके आणविक द्रव्यमान, आकार और संरचना से घनिष्ठ रूप से संबंधित होते हैं।
Ans. बहुलक अणु में उपस्थित एकलक अणुओं की संख्या को बहुलीकरण की कोटि कहते हैं।
Ans. एथीलीन अणु का आणविक द्रव्यमान 28 हैं।
Ans. किसी बहुलक नमूने में उपस्थित सभी अणुओं की कुल संहति को अणुओं की संख्या से विभाजित करने पर प्राप्त परिणाम को संख्या औसत अणुभार कहते हैं।
Ans. किसी बहुलक के भार औसत अणुभार तथा संख्या औसत अणुभार का अनुपात बहुपरिक्षेपण घातांक कहलाता है।
Ans. प्राकृतिक रबड़ में प्रत्यास्थ गुण पाए जाते हैं, प्रत्यास्थ बहुलक कहलाते हैं।
Ans. प्राकृतिक रबड़ के भौतिक गुणों को सुधारने के लिए वल्कनीकरण का उपयोग किया जाता है।
Ans. प्राकृतिक रबड़ का उपयोग जूते, बरसाती कोट, गोल्फ की गेंद आदि बनाने में होता है।
Ans. चार्ल्स गुडइयर ने यूएसए में रबड़ का वल्कनीकरण, गंधक के द्वारा करवाया।
Ans. वल्कनीकरण में प्राकृतिक रबड़ की द्विबंध युक्त श्रृंखलाएं परस्पर गंधक के क्रॉस बंधो द्वारा जुड़ जाती है, इससे रबड़ कठोर हो जाता है।
Ans. पॉलीआइसोब्यूटाइलीन आइसोब्यूटाइलीन एकलक के बहुलीकरण से बनाया जाता है।
Ans. पॉलीब्यटाइईन ब्यूटाडाइईन एकलकों के योगात्मक बहुलीकरण द्वारा बनाया जाता है।
Ans. पॉलीक्लोरोप्रीन का उपयोग गैसकेट, वाहनों के पट्ठे, हौजों आदि बनाने में होता है।
Ans. यह संश्लेषित रबड़ 1, 3 ब्यूटाडाईइन तथा एक्रिलो नाइट्राइल एकलकों कें सहबहुलीकरण द्वारा प्राप्त होता है।
Ans. नेचुरल रबर का उपयोग ईंधन संग्रहित करने वाले टेंकों, ऑयल सील आदि होता है।
Ans. यह एक्रेलोनाइट्राइल के 1, 3 ब्यूटाडाईइन के तथा स्टाइरीन के सहबहुलीकरण द्वारा प्राप्त होता है।
Ans. पॉलिथीन का निर्माण 1933 में हुआ।
Ans. पॉलिथीन का निर्माण सर्वप्रथम इंग्लैंड में हुआ।
Ans. पॉलीथिन दो प्रकार के होते हैं।
Ans. पॉलिथीन एथीन एकलकों के योगात्मक बहुलीकरण क्रियाविधि द्वारा बनाए जाते हैं।
Ans. LDPE का गलनांक 110°-125°C होता है।
Ans. HDPE का गलनांक 144°-150°C होता है।
Ans. LDPE की तुलना में HDPE ज्यादा क्रिस्टलीय होते हैं।
Ans. पॉली विनाइल क्लोराइड वाइनिल क्लोराइड एकलकों के योगात्मक बहुलीकरण क्रिया विधि द्वारा बनाए जाते हैं।
Ans. पॉली विनाइल क्लोराइड वाइनिल क्लोराइड का समबहुलक है।
Ans. PVC एक चमकीला, कठोर तथा दृढ़ बहुलक है।
Ans. पी.वी.सी. को उपयुक्त विलायक जैसे क्लोरो बेंजीन में विलेय करने पर इसका क्लोरोनीकरण होता है इसे क्लोरोनीकृत PVC कहते हैं।
Ans. क्लोरोनीकृत PVC का उपयोग चिपकाने वाले पदार्थों, लेपन तथा रेशों में होता है।
Ans. वाइनिल चमड़े का उपयोग बरसाती कोट, फर्श की पॉलिश, हैंडबैग, पर्दे के कपड़े आदि बनाने में किया जाता है।
Ans. PVC का विघटन 200°C तापमान के बाद होने लगता है।
Ans. 200°C तापमान के बाद PVC का विघटन होने लगता है तो HCl निकलती है।
Ans. टरथैलिक अथवा इसके एस्टर तथा एथिलीन ग्लाइकोल के संघनन बहुलीकरण से पॉलीएथिलीन टरथैलेट का बहुलक बनता है।
Ans. टरथैलेट का व्यापारिक नाम डेक्रान है।
Ans. टेरिलिन का उपयोग बेल्ट, रस्सी, नावो की पाल आदि बनाने में होता है
Ans. ऋणात्मक योगात्मक अभिक्रिया द्वारा केप्रोलेक्टम से नायलॉन-6 का संश्लेषण होता है।
Ans. नायलॉन-6 सफेद रंग का होता है।
Ans. नायलॉन-6 का उपयोग वाहनों के गियर, टूथब्रश, गिटार, धागे, रसिया, तंतु इत्यादि में होता है।
Ans. नायलॉन 66 का निर्माण हेक्सामेथिलीन डाइऐमिन तथा ऐडिपिक अम्ल के संघनन बहुलीकरण द्वारा बनता है।
Ans. डाइऐमीन तथा द्विकार्बोक्सिलिक अम्ल दोनों में छः छः कार्बन परमाणु होते हैं इसीलिए इसे नायलॉन 66 कहते हैं।
Ans. एकलक में छः कार्बन परमाणु है इसीलिए इसे नायलॉन 6 कहते हैं।
Ans. नायलॉन 66 का उपयोग वस्त्रों, पैराशूट, रोप आदि में होता है।
Ans. तनु अम्ल की उपस्थिति में क्रिया करने पर रेखीय बहुलक प्राप्त होता है यह तापसुघट्य पदार्थ होता है इसे नोवोलक कहते हैं।
Ans. फिनाॅल तथा फार्मेल्डिहाइड को उच्च ताप तथा दाब पर क्रिया करवाने पर बैकलाइट प्राप्त होता है।
Ans. फार्मेल्डिहाइड तथा फिनाॅल का अनुपात एक से अधिक लेकर क्षार की उपस्थिति में संघनन किया करवाने पर तापदृढ़ पदार्थ प्राप्त होता है जिसे रिसाॅल कहते हैं।
Ans. बैक लाइट का उपयोग स्विच, बर्तनों के हैंडल, खिलौने आदि बनाने में होता है।
Ans. जैव बहुलक प्राकृतिक बहुलक होते हैं।
Ans. जैव बहुलक जीव-जंतुओं तथा वनस्पतियों में पाया जाता है।
Ans. जैव बहुलक का उदाहरण प्रोटीन, पॉलीसेकेराइड, न्यूक्लिक अम्ल आदि है।
Ans. जैवनिम्नीकृत बहुलक प्राकृतिक तथा संश्लेषित दोनों प्रकार के हो सकते हैं।
सामान्य रसायन विज्ञान प्रश्न उत्तर भाग – 86